



मोटर इंश्योरेंस में आईडीवी को समझना
श्री सुभाशीष मजूमदार, हेड- मोटर डिस्ट्रीब्यूशन, बजाज आलियांज़ जनरल इंश्योरेंस
मोटर वाहन बीमा भारत में न केवल एक कानूनी आवश्यकता है, बल्कि यह थर्ड पार्टी को होने वाले नुकसान, चोरी और देयता के कारण वाहन के मालिकों को होने वाले नुकसान से भी सुरक्षा प्रदान करता है. मॉर्डोर इंटेलिजेंस की एक रिपोर्ट के अनुसार, इस अवधि के दौरान 10.25% की कंपाउंड एनुअल ग्रोथ रेट (सीएजीआर) के साथ, 2025 में भारतीय मोटर बीमा बाज़ार का 13.19 बिलियन अमेरिकी डॉलर से बढ़कर 2030 तक 21.48 बिलियन अमेरिकी डॉलर होने का अनुमान है. 1.38 बिलियन की बढ़ती आबादी और अपने लोगों के बीच बढ़ती आकांक्षाओं के साथ, भारत स्थिर आर्थिक विस्तार का अनुभव कर रहा है. इस वृद्धि के परिणामस्वरूप लोगों की क्रय शक्ति बढ़ती है और वे व्यक्तिगत परिवहन को अधिक प्राथमिकता देने लगते हैं.
जैसे-जैसे व्यक्तिगत वाहनों की संख्या और बीमा विकल्पों में वृद्धि हो रही है, वाहन मालिकों के लिए यह समझना आवश्यक हो रहा है कि उनके लिए किस-किस प्रकार की बीमा कवरेज उपलब्ध है, ताकि वे अपने बीमा प्लान का अधिकतम लाभ उठा सकें. इस आर्टिकल में, हम कवरेज के एक महत्वपूर्ण पहलू पर चर्चा करेंगे: इंश्योर्ड डिक्लेयर्ड वैल्यू (बीमित घोषित मूल्य, यानी आईडीवी).
इंश्योर्ड डिक्लेयर्ड वैल्यू क्या है: इंश्योर्ड डिक्लेयर्ड वैल्यू (आईडीवी) से आश्य वह अधिकतम राशि है, जो कि आपका वाहन के चोरी होने या पूरी तरह नुकसान होने की स्थिति में आपकी बीमा कंपनी आपको भुगतान करेगी. यह आपके वाहन के मूल्य में कमी को ध्यान में रखने के बाद उसके वर्तमान बाज़ार मूल्य को दर्शाती है.
आईडीवी की गणना कैसे करें? आईडीवी की गणना वाहन की निर्माता की सूचीबद्ध बिक्री कीमत में से मूल्यह्रास कम करके की जाती है
नई कार खरीदते समय, बीमा पॉलिसी में आईडीवी आमतौर पर कार की एक्स-शोरूम कीमत का 95% होती है, जिसमें प्रारंभिक 5% मूल्यह्रास शामिल होता है. जैसे-जैसे वाहन पुराना होता जाता है, निरंतर मूल्यह्रास के कारण उसकी आईडीवी कम होती जाती है.
6 महीने से अधिक नहीं 5% मूल्यह्रास
6 महीने से 1 वर्ष के बीच 15% मूल्यह्रास
1 वर्ष से 2 वर्ष के बीच 20% मूल्यह्रास
2 वर्ष से 3 वर्ष के बीच 30% मूल्यह्रास
3 वर्ष से 4 वर्ष के बीच 40% मूल्यह्रास
4 वर्ष से 5 वर्ष के बीच 50% मूल्यह्रास
क्या अधिक आईडीवी होना बेहतर होता है? आदर्श आईडीवी मूल्य क्या है? अपने वाहन के लिए उपयुक्त इंश्योर्ड डिक्लेयर्ड वैल्यू (आईडीवी) चुनना आवश्यक है. आईडीवी सीधे आपके बीमा प्रीमियम से लिंक होती है, जिसका मतलब है कि अधिक आईडीवी अधिक कवरेज प्रदान करेगी, लेकिन इसके परिणामस्वरूप प्रीमियम भी अधिक होगा. इसलिए, आदर्श आईडीवी आपकी कार की वास्तविक बाज़ार मूल्य को सटीक रूप से दिखाएगी. आईडीवी को अधिक दर्शाने से आपका प्रीमियम अनावश्यक रूप से बढ़ सकता है, जबकि इसे कम आंकने पर हो सकता है कि दावा करते समय आपको पर्याप्त मुआवज़ा न मिले. यह भी ध्यान रखना चाहिए कि क्लेम के बाद आईडीवी कम नहीं होती है. यह बीमा अवधि के दौरान उतनी ही रहेगी, जैसा कि पॉलिसी की शुरुआत में निर्धारित किया गया था. रिन्यूअल के बाद, मानक प्रक्रिया के अनुसार आईडीवी की लागत कम हो जाएगी. चाहे आपने क्लेम किया हो या नहीं, आप रिन्यूअल के समय अगले वर्ष अपनी आईडीवी को बढ़ा सकते हैं. हालांकि, यह आपके वाहन की वास्तविक बाज़ार मूल्य को दिखाएगा.
अगर ज़ीरो डेप्रिसिएशन हो, तो क्या आईडीवी का कोई महत्व होता है? ज़ीरो डेप्रिसिएशन और आईडीवी के अलग-अलग उद्देश्य होते हैं, इसलिए दोनों कवरेज होना महत्वपूर्ण है. ज़ीरो डेप्रिसिएशन कवर मरम्मत की पूरी लागत को बिना किसी मूल्यह्रास की कटौती के कवर करता है. इसके विपरीत, आईडीवी वह राशि होती है जो आपको वाहन के पूरी तरह नुकसान होने या चोरी की स्थिति में प्रदान की जाती है. पूरी तरह नुकसान वह स्थिति होती है, जब बीमा कंपनी यह घोषित करती है कि मरम्मत की लागत आईडीवी के 75 प्रतिशत से अधिक है.
क्या कार बेचते समय आईडीवी महत्वपूर्ण होती है? आईडीवी कार बेचते समय महत्वपूर्ण होती है, क्योंकि यह संभावित खरीदारों को वाहन के वर्तमान बाज़ार मूल्य का अंदाजा देती है. उच्च आईडीवी आपके वाहन को खरीदारों के लिए अधिक आकर्षक बना सकती है. आपको याद रखना चाहिए कि 5 वर्ष से अधिक पुराने वाहनों के लिए, आईडीवी बीमा कंपनी और बीमित के बीच आपसी समझौते द्वारा निर्धारित की जाती है.
इस लेख में दी गई आईडीवी से संबंधित जानकारी ने आपको अपनी बीमा पॉलिसी में आईडीवी की भूमिका को समझने में मदद मिलेगी. सही प्रकार का बीमा चुनना और यह सुनिश्चित करना कि आपकी सभी इच्छित कवरेज पॉलिसी में शामिल हो, अत्यंत महत्वपूर्ण है, ताकि आप अपने वाहन और अपनी वित्तीय सुरक्षा को सही तरीके से संरक्षित कर सकें.